Arpit sir Reasoning
January 24, 2025 at 08:03 AM
*मां कुंती दशकों पहले कर्ण को खो चुकी थीं लेकिन उनको एहसास हुआ खोने का महाभारत के होने पर.* *ठीक इसी तरह आपका आज का समय है. इसे अगर ऐसे ही व्यर्थ किया तो हो सकता है आपको आज न एहसास हो लेकिन आपको आने वाले समय में अवश्य ही दुख होगा कि आपके पास समय था, सारे संसाधन थे, आप कर सकते थे, लेकिन आपने नही किया. सब कुछ वापस लौट के आ सकता है लेकिन आपका आज का समय वापस नही आएगा.* *कोई भी चीज़ खो देने का एहसास ऐसे नही होता और वो एहसास कभी कभी वो चीज़ खोने के तुरंत बाद भी नही होता. बल्कि वो खो देने का एहसास तब होता है जब ये निश्चित हो जाए कि खोई हुई चीज पुनः नही पाई जा सकती. और कुछ लोगों को खोने के बाद भी समझने और स्वीकार करने में समय लगता है.*
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