SHALA SOLUTION
SHALA SOLUTION
February 3, 2025 at 01:59 AM
सभी विद्यालय परिवार के सदस्यों से मेरा सादर अनुरोध हैं कि वित्तीय वर्ष 2024-2025 आयकर गणना वर्ष 2025-2026 दिनांक 31 मार्च 2025 को पूर्ण हो जायेगा जिसके लिए सभी अपने वास्तविक आयकर गणना प्रपत्र तैयार कर कर `दिनांक 15 फ़रवरी 2025 तक` कार्यालय में आवश्यकरूप से जमा करवा दे विलम्ब से जमा करवाने पर आप स्वयं का माह फ़रवरी 2025 देय मार्च 2025 में विलम्ब होगा और उसके आप स्वयं जिम्मेदार रहेंगे वर्तमान में पुराना आयकर नियम और नया आयकर नियम प्रभावी हैं, पुराने नियमों में मानक छुट 50,000 और आप द्वारा जमा करवाई गई विभिन्न राशि अलग अलग आयकर नियमों के अंतर्गत छुट योग्य मान्य हैं नये आयकर नियम में मानक छुट 75,000 हैं उसके बाद की सम्पूर्ण आय राशि पर आयकर की निर्धारित दरों में अनुसार आयकर और उस पर 4% उप कर और शिक्षा कर प्रभावी रूप से मान्य होंगे सभी से अनुरोध रहेगा कि आप द्वारा आहरण वितरण अधिकारी द्वारा देय वेतन और कटौती के आपको किसी प्रकार का प्रमाणीकरण करना आवश्यक नहीं रहेगा इसके अतिरिक्त स्वयं द्वारा विभिन्न जमा की मूल रसीद (DDO को दिखा कर वापस प्राप्त कर ले) और उसकी फोटो प्रति स्वयं प्रमाणित कर संलग्न करनी होगी (उस पर DDO द्वारा सत्यापन के हस्ताक्षर आवश्यक रहेंगे) आप द्वारा निजी तौर पर जमा राशि यदि आयकर विभाग द्वारा अमान्य होने पर उसकी एवज़ में वसूली घोषित करने पर य़ह आपका और आयकर विभाग का आपसी समायोजन रहेगा नियमानुसार DDO का य़ह दायित्व होता है कि कार्मिक को वर्ष भर में कुल देय राशि और उस पर आयकर छुट योग्य कटौती के अनुसार आयकर गणना कर आयकर कटौती मासिकरूप नियमित आयकर कटौती करे, नहीं करने पर DDO और कार्मिक स्वयं जिम्मेदार रहते हैं साथ ही यदि किसी कार्मिक के ACP, MACP स्थायीकरण अथवा अन्य वेतन सभी संशोधन से होने बकाया हैं तो, उन सभी से मेरा यही अनुरोध रहेगा कि वे अपने निजी स्तर से उसकी गणना कर उस राशि को सेलरी एरियर्स में मान कर अपना आयकर गणना प्रपत्र तैयार करे विशेष सभी साथी अपने विभिन्न बैंक खाते में प्राप्त ब्याज को अवश्य अंकन करे, बैंक ने चाहे 100 रुपये या उससे भी अधिक ब्याज जरूर देता हैं, इसलिये इसे अपनी अन्य आय में जरूर शामिल करे जो यदि 2024-25 के मध्य में अन्य कार्यालय से आये हैं वे अपने GA55A अवश्य संलग्न करे जिनकी 2024-25 में नवीन नियुक्ति हुई हैं वे अपने भी GA55A अवश्य संलग्न करे यदि किसी के आयकर से न्यूनतम 500 से अधिक जितना भी अधिक आयकर कटौती हुई हैं वह राशि आयकर विभाग द्वारा मय ब्याज के आपके बैंक खाते में पुनः जमा करवा दी जाती हैं, इससे आप जरा भी संदेह नहीं करे आप द्वारा जैसे किसी राजनैतिक दलों, गौ शाला, मकान किराया जो आप द्वारा चुकाया जाता हैं अथवा इस की और धर्मार्थ संस्था में 80G के अंतर्गत दिया है, उसके लिए DDO अपने विवेक से स्वीकार अथवा अस्वीकार कर सकता हैं, वह बाध्य नहीं की उस रसीद को स्वीकार ही करे, (इस तरह की स्थिति में आप स्वयं अपने ऑनलाइन आयकर प्रस्तुत करते समय आयकर विभाग से छुट की मांग कर सकते हैं) यदि किसी साथी ने आवास निर्माण अथवा आवास में अपग्रेड करवाने हेतु किसी बैंक अथवा से ऋण ले रखा हैं, और उसके पुनर्भुगतान की राशि को केवल पुराने आयकर गणना में छुट मिलेगी नये आयकर गणना में छुट नहीं हैं इसी तरह दिव्यांगता भत्ते में भी यही नियम प्रभावी हैं सभी साथियों को मेरी निजी जानकारी से अवगत करवा दिया गया हैं फिर भी आयकर विभाग के द्वारा जारी सर्वमान्य हैं, इसे आप य़ह माने कि मेरे द्वारा दी जानकारी पूर्णतया मान्य हो य़ह कार्मिक, DDO और आयकर विभाग के आपसी मामला हैं कार्यालय केवल मात्र आपके सम्पर्क सूत्र का जरिया हैं सुनील कुमार बोहरा (श्रीमाली) प्रशासनिक अधिकारी शिक्षा विभाग

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