UPSC IAS EXAM
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June 4, 2025 at 06:25 AM
*📚 भक्ति आंदोलन – Short Notes* *🔸 परिचय / Introduction:* भक्ति आंदोलन एक सामाजिक-धार्मिक सुधार आंदोलन था, जिसकी शुरुआत दक्षिण भारत से हुई और बाद में यह उत्तर भारत में फैला। The Bhakti Movement was a socio-religious reform movement that began in South India and later spread to North India *🔹 दक्षिण भारत के संत / Saints of South India:* • *आलवार (Alvar)* – विष्णु भक्त (Vaishnavite) • *नायनार (Nayanar)* – शिव भक्त (Shaivite) • *नाम्मालवार (Nammalvar)* • *अंडाल (Andal)* • *अप्पार (Appar)* • *मणिक्कवाचकर (Manikkavachakar)* *🔹 उत्तर भारत के प्रमुख संत / Major Saints of North India:* • *कबीरदास (Kabir Das)* – निर्गुण भक्ति, जातिवाद और मूर्तिपूजा का विरोध • *गुरु नानक देव (Guru Nanak Dev)* – सिख धर्म के संस्थापक, निर्गुण भक्ति • *तुलसीदास (Tulsidas)* – सगुण भक्ति, रामचरितमानस के रचयिता • *मीराबाई (Meerabai)* – श्रीकृष्ण की अनन्य भक्त • *सूरदास (Surdas)* – वात्सल्य रस में कृष्ण भक्ति • *रैदास / रविदास (Ravidas)* – समानता और सामाजिक न्याय के समर्थक • *रामानंद (Ramananda)* – सभी जातियों के लिए भक्ति का प्रचार • *चैतन्य महाप्रभु (Chaitanya Mahaprabhu)* – राधा-कृष्ण की भक्ति, गौड़ीय वैष्णव परंपरा • *नामदेव (Namdev)* – मराठी संत, निर्गुण भक्ति • *एकनाथ (Eknath)* – महाराष्ट्र के भक्ति संत • *तुकाराम (Tukaram)* – विट्ठल भक्ति के प्रसिद्ध संत *🔸 भक्ति के दो मुख्य प्रकार / Two Main Types of Bhakti:* • *निर्गुण भक्ति (Nirguna Bhakti):* ईश्वर निराकार है – प्रमुख संत: कबीर, नानक, रैदास, नामदेव • *सगुण भक्ति (Saguna Bhakti):* ईश्वर साकार है – प्रमुख संत: तुलसीदास, मीराबाई, सूरदास, चैतन्य *🔹 प्रभाव / Impact:* • जातिवाद और ऊँच-नीच के विरोध में आवाज़ • धार्मिक सहिष्णुता का प्रसार • स्थानीय भाषाओं का विकास • समाज में समता और समरसता की भावना *Please hit like💓& share* https://whatsapp.com/channel/0029VaqxaAO0AgW3WyzY5B2L/142

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