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June 19, 2025 at 10:48 AM
**रा-धा/ध:-स्व-आ-मी! 19-06 -2025-आज शाम सतसंग में पढे गये शब्द पाठ:- (1) जो जन राधा/ध:-स्व-आ-मी सरना पड़े। उनके जागे भाग बड़े।। (संस्कृत)(प्रेमबानी-3- शब्द-22- पृ.सं.367)+अधिकतम् उपस्थिति- अमृतसर ब्राँच पंजाब- @-15:15- दर्ज-78) (2) दयाला मोहि लीजे तारी।।टेक।। (प्रेमबानी-2- शब्द-4- पृ.सं.407,408)(स्वामीनगर मोहल्ला) (3) आज मैं गुरु सँग खेलूँगी होरी।।टेक।। (रत्नांजली- शब्द-52- पृ.सं.111,112)(महिला पाठ पार्टी दयालबाग ) (4) रोजाना वाक़िआत- भाग-2- कल से आगे एवं परम गुरु हुजूर मेहता जी महाराज के बचन- भाग-1 । सतसंग के बाद:- (1)-रा-धा/ध:-स्व-आ-मी मूल नाम। (2)-हे दयाल सद् कृपाल! (3)-रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी रा-धा/ध:-स्व-आ-मी! 🙏🏻रा-धा/ध:-स्व-आ-मी🙏🏻**

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