Bhajan Ganga
Bhajan Ganga
May 29, 2025 at 09:43 AM
https://bhajanganga.com/bhajan/lyrics/id/34888/title/radha-radha-radha-raha राधा राधा राधा राधा तर्ज : रात श्याम मेरे सपने आयो ब्रज भूमि में पांव धरत ही, तन मन बोले-राधा राधा राधा राधा ।। गोवर्धन गिरि, ब्रजरज, यमुना, कण कण बोले-राधा राधा० पशु पक्षी तरू फूल लताएं, कुंज कुंज बोले-राधा राधा० छाछ दूध दहीं माखन मटकी, बंसी बोले-राधा राधा० निगमागम सुर सन्त भगत मुनि, जन गण बोले- राधा राधा० मधुर मधुर रस चाख ' मधुप हरि' रसना बोले - राधा राधा०

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