
मोहब्बत शायरी
30 subscribers
About मोहब्बत शायरी
बाते ऐसी जो दिल छू जाए इस चैनल को फॉलो जरूर करे
Similar Channels
Swipe to see more
Posts

कोई समझे तो एक बात कहूँ, सच्चा इश्क एक वरदान है, कोई गुनाह नहीं!! ❤️❤️

काश मेहरबां हम पे ये रात हो जाए, आंख लगे और उनसे मुलाकात हो जाए ! 💙 #goodNight

ब्रह्मांड को रचने वाला जब तुम्हे बनाने पे आएगा, तो तुम्हारा अंत भी तुम्हारा प्रारंभ बन जाएगा।। #जय_श्री_श्याम🙏

क्या कह गई किसी की नज़र कुछ न पूछिए क्या कुछ हुआ है दिल पे असर कुछ न पूछिए वो देखना किसी का कनखियों से बार बार वो बार बार उस का असर कुछ न पूछिए रो रो के किस तरह से कटी रात क्या कहें मर मर के कैसे की है सब्र कुछ न पूछिए 'प्रेम' उसकी नजरों की इश्क में पहुँचे हैं मर के हम क्यूँ, क्या और कैसे हुआ है तय ये सफ़र कुछ न पूछिए।। ❤️

अचानक रात में तुम फिर आई थी मेरे ख्वाबों में, तुम को क्या बताऊँ कि तुम ने क्या क्या किया ख्वाबों में..... ❤️😍❤️

कठिन है राह थोड़ी दूर साथ चलो बहुत कड़ा है सफ़र थोड़ी दूर साथ चलो पूरी उम्र कहाँ कोई साथ देता है ये जानता हूँ मगर थोड़ी दूर साथ चलो नशे में चूर हूँ मैं भी तुम्हें भी होश नहीं अच्छा लगेगा तुमको भी अगर थोड़ी दूर साथ चलो ये एक क्षण की मुलाक़ात भी ग़नीमत है किसे है कल की ख़बर चलो थोड़ी दूर साथ चलो अभी तो जाग रहे हैं हम भी रातों को इस जिंदगी के सफर में अभी है दूर शहर भी चलो थोड़ी दूर साथ चले....! ❤️💓👍🏻👍🏻

सुरक्षित है बाग के फूल अब, टहनियां को भी बचा लो कोई... बहुत बचा लिए बेटियों को, बेटों को भी बचा लो अब।। #राजा_रघुवंशी

मुझ पे हैं सैकड़ों इल्ज़ाम मिरे साथ न चल तू भी हो जाएगा बदनाम मिरे साथ न चल तू नई सुबह के सूरज की है उजली सी किरन मैं हूँ इक धूल भरी शाम मिरे साथ न चल अपनी ख़ुशियाँ मिरे आलाम से मंसूब न कर मुझ से मत माँग मिरा नाम मिरे साथ न चल।। 💔😔🙏🏻

आते आते मिरा नाम सा रह गया उस के होंटों पे कुछ काँपता रह गया रात मुजरिम थी दामन बचा ले गई दिन गवाहों की ताक में खड़ा रह गया एक दिन वो मेरा सबकुछ लेकर मेरे सामने से ही गया और मैं रास्ते की तरह देखता रह गया झूट वाले देखो कहा से कहा बढ़ रहे, और मैं हुं कि अभी भी सच बोलता रह गया कुछ अपनों के इरादे तो अच्छे न थे और मैं लड़खड़ाते_लड़खड़ाते खड़ा हो जाऊंगा देखने वाले देखते रहेंगे मेरे गिरने के इंतजार में वहीं खड़े के खड़े रह जाएंगे।। #जय_श्री_श्याम❤️

खुल के बातें करें किसी को सुनाएँ सब आखिर कोई तो हो जिसे बताएँ सब रात फिर कश्मकश में गुज़री है थोड़ा सा किसी को बतला दें या छुपाएँ सब कुछ तो अपने लिए भी रखना है अपना ये ज़ख़्म औरों को क्यूँ दिखाएँ हम ले चलूँ आओ तुम को मंज़िल तक मुझ से कहती हैं ये दिशाएँ सब मेरा काम भी लोगों के दिल को भा जाता काश मुझे भी चमचागिरी करना आ जाता ।। 💓💓